जानलेवा हमले के बाद असदुद्दीन ओवैसी को जेड कैटगरी की सुरक्षा मुहैया कराई गई
लखनऊ ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल-मुस्लिमीन प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी पर गुरुवार को मेरठ से दिल्ली आते समय छिजारसी टोल..

लखनऊ ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल-मुस्लिमीन प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी पर गुरुवार को मेरठ से दिल्ली आते समय छिजारसी टोल गेट पर जानलेवा हमला किया गया। हमलावरों की तरफ से चलाई गईं गोलियां उनकी कार पर लगी और असदुद्दीन ओवैसी बाल-बाल बच गए। इसके बाद केंद्र सरकार ने ओवैसी को जेड कैटगरी की सुरक्षा मुहैया करा दी है।
इस वारदात में शामिल दो आरोपियों गोतमबुद्ध नगर के सचिन और देवबंद, सहारनपुर निवासी शुभम को हापुड़ पुलिस ने गिरफ्तार किया। जांच में पता चला कि सचिन असदुद्दीन ओवैसी और उनकी पार्टी के नेताओं के भाषणों को लेकर नाराज था। इसलिए पिछले कई दिनों से ओवैसी पर हमले की प्लानिंग कर रहा था। ये दोनों मेरठ में ओवैसी की सभा में भी मौजूद थे।
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जानकारी के मुताबिक असदुद्दीन ओवैसी गोली कांड का मुख्य आरोपी सचिन कई दिनों से उनका पीछा कर रहा था। वह ओवैसी की मेरठ की सभा में भी गया था। शुभम के साथ हमले के लिए काफी दिन वह अच्छे मौके की तलाश में था। उनकी योजना थी कि वह असदुद्दीन ओवैसी को मारने के बाद वह सीधे पुलिस स्टेशन जाकर सरेंडर कर देंगे, ताकि भीड़ के गुस्से से बच जाएं। लेकिन गुरुवार को सचिन ने जब गोली चलाई तो वह निशाने पर नहीं लगी।
इसके बाद ओवैसी के ड्राइवर ने गाड़ी आगे भगा ली। इससे उनका प्लान फेल हो गया। हापुड़ पुलिस ने मुताबिक मेरठ से दिल्ली जाते समय सांसद असदुद्दीन ओवैसी पर 5.20 बजे के आस पास दो अज्ञात लोगों ने हमला किया गया था। जांच के बाद पुलिस ने सचिन और फिर शुभम को गिरफ्तार किया गया। उनके पास से असलहा और घटना में इस्तेमाल कार भी बरामद की गई। पुलिस को उन्होंने बताया कि पार्टी के नेताओं के बयानों से वह नाराज थे।
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असदुद्दीन ओवैसी हमले की सूचना मिलते ही हापुड़ जिले के पुलिस के साथ प्रदेश भर में अधिकारी अलर्ट हो गए। एडीजी लॉ एंड ऑर्डर प्रशांत कुमार ने भी मामले की कमान संभाली। इसके बाद पुलिस ने गोतमबुद्धनगर के सचिन को गिरफ्तार कर लिया। वहीं दूसरे आरोपी ने डर कर गाजियाबाद थाने में सरेंडर कर दिया। मामले की जांच के लिए पांच टीमें भी बनाई गई हैं।
हमले के मुख्य आरोपी सचिन की फोटो कई बीजेपी नेताओं के साथ वायरल हो रही है। मामले में गुरुवार को सचिन के परिवार के सदस्यों को भी हिरासत पुछताछ के लिए हिरासत में लिया गया। 32 साल का सचिन भाई-बहनों में सबसे बड़ा है, जो कि पिता के काम में सहयोग करता है। हालांकि, हमले के बाद ओवैसी ने सुरक्षा लेने से इनकार कर दिया था। उन्होंने कहा कि ना डरने वाला हूँ, ना सिक्योरिटी लेने वाला हूँ। अपना चुनाव प्रचार जारी रखूँगा। अगर किसी माई के लाल में दम है तो मार के दिखाए मुझे।
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कुछ देर पहले छिजारसी टोल गेट पर मेरी गाड़ी पर गोलियाँ चलाई गयी। 4 राउंड फ़ायर हुए। 3-4 लोग थे, सब के सब भाग गए और हथियार वहीं छोड़ गए। मेरी गाड़ी पंक्चर हो गयी, लेकिन मैं दूसरी गाड़ी में बैठ कर वहाँ से निकल गया। हम सब महफ़ूज़ हैं। अलहमदु’लिलाह। pic.twitter.com/Q55qJbYRih — Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) February 3, 2022
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