अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के दिन कहीं जन्मे राम, कहीं वैदेही

अयोध्या में जहां सोमवार को भगवान श्री रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का उत्सव पूरे देश में बड़े ही धूमधाम के साथ मनाया जा रहा था और इसकी धूम समूचे विश्व  में थी। वहीं इस विशेष महत्व ...

अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा के दिन कहीं जन्मे राम, कहीं वैदेही

 अयोध्या में जहां सोमवार को भगवान श्री रामलला की प्राण प्रतिष्ठा का उत्सव पूरे देश में बड़े ही धूमधाम के साथ मनाया जा रहा था और इसकी धूम समूचे विश्व  में थी। वहीं इस विशेष महत्व के दिन गर्भवती महिलाएं भी चाहती थीं कि 22 जनवरी का दिन उनके लिए भी यादगार रहे। इसी क्रम में दमोह के जिला अस्पताल में 15  महिलाओं ने बच्चों को जन्म दिया और उनकी मन की मुराद पूरी हो गई, क्योंकि वह इसी दिन अपनी संतान को जन्म देना चाहती थीं। किसी ने अपने बच्चों का नाम राघव, राम, रघुवर रखा तो किसी ने बेटियों को जानकी सीता व वैदेही नाम दिया महिलाओं ने 8 बेटों और और 7 बेटियों को जन्म दिया। 

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जिला अस्पताल में जिन महिलाओं ने बेटा, बेटियों को जन्म दिया है। उन महिलाओं का कहना है कि आज का दिन उनके लिए जीवन भर यादगार रहेगा और आने वाली कई पीढ़ियां इसे याद रखेगी। इन महिलाओं का कहना था कि हमारे लिए तो प्रभु राम और माता सीता ही साक्षात रूप में घर में पैदा हुए हैं और हम चाहेंगे कि भगवान राम की इन पर ऐसी कृपा रहे कि वह हमेशा ही सुखी, शिक्षित और संस्कारवान हो। इसी कारण आज के दिन इस पुनीत अवसर पर इन बेटों, बेटियों को जन्म दिया है और हमारे परिवार को काफी खुशी है कि इस विशेष अवसर पर हमारे परिवार में खुशी आई है। पथरिया के प्रबल सोनी ने बताया की उनकी पत्नी प्रियंका ने बेटे को जन्म दिया है 22 जनवरी का दिन हमारे लिए यादगार बन गया। 

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बच्चों को जन्म देने वाली इन महिलाओं का कहना है कि भगवान राम की स्थापना में प्रत्येक व्यक्ति अपना किसी न किसी प्रकार का योगदान देने के लिए लालायित था और  जैसे ही सोमवार को भगवान की प्रतिमा की स्थापना हुई तो प्रत्येक व्यक्ति में एक जुनून सवार हो गया और वह किसी न किसी प्रकार से अपनी खुशी जाहिर करने के लिए जुट गया। किसी ने प्रसाद बांटा तो किसी ने फल बांटे तो किसी ने रामायण सुंदरकांड का पाठ का आयोजन कर खीर का वितरण किया। इस प्रकार हर व्यक्ति अपना कहीं ना कहीं योगदान देता रहा।

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22 जनवरी को जिन महिलाओं ने बच्चों को जन्म दिया है। उनमें प्रियंका पति प्रबल सोनी, क्रांति पति बृजेश सिंह केवलारी, विनीता पति भूरा आदिवासी धरमपुरा, अर्चना बांसा तारखेडा, पूजा पति चंद्रेश रजक आनू, किरण पति  गणेश लुहर्रा, रिया पति विजन अस्पताल चौराहा दमोह, प्रियंका पति भूपेंद्र पिपरोधा ने बेटों को जन्म दिया। वहीं प्रीति पति  नारायण खिरिया, सीता  बक्सवाहा, पूनम पति  मनीष चौधरी मल्लपुरा, अंजलि पति आकाश जाटव शोभानगर, कविता पति  अनिल भूरी हिनौती, धनकवर पति  धीरज एवं परवेज पति अब्दुल निवासी बढ़याऊ ने बेटियों को जन्म दिया।जिला अस्पताल दमोह के आरएमओ, डॉ. विशाल शुक्ला ने बताया कि 22 जनवरी सोमवार को यादगार बनाने के लिए कुछ महिलाओं द्वारा अपनी डिलीवरी कराई गई। इनमें जिला अस्पताल में 7 बेटों एवं 6 बेटियों ने जन्म दिया।

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