वध के लिए गोवंशों को ले जाने वाले चार अभियुक्तों को चार-चार साल की कड़ी सजा

गोवंशों को वध के इरादे से ट्रक में भरकर ले जा रहे अभियुक्तों को पकड़ कर पुलिस ने 14 साल पहले जेल भेज दिया था। पकड़े गए अभियुक्तों को न्यायालय ने दोषी मानते हुए चार-चार ...

वध के लिए गोवंशों को ले जाने वाले चार अभियुक्तों को चार-चार साल की कड़ी सजा

बांदा,

गोवंशों को वध के इरादे से ट्रक में भरकर ले जा रहे अभियुक्तों को पकड़ कर पुलिस ने 14 साल पहले जेल भेज दिया था। पकड़े गए अभियुक्तों को न्यायालय ने दोषी मानते हुए चार-चार साल की कड़ी सजा व छह छह हजार जुर्माना से दंडित किया है।

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तत्कालीन मटौंध थाना इंचार्ज कैलाश कुशवाहा ने 25 मार्च 2009 को थाना मटौंध में दर्ज कराए गए मुकदमे में बताया गया है कि वह 25 मार्च 2009 को अपने हमराहियों के साथ गस्त पर थे। इसी दौरान गोयरा मुगली व मोहन पुरवा के पास कुछ लोगों ने मुझे दबी जुबान से बताया कि आमिर उर्फ करिया निवासी निम्नीपार शहर कोतवाली व उसके साथी हामिद अली उर्फ भैया निवासी ग्राम जखनी थाना गिरवा, गफ्फार खान निवासी बनी बाजार खैराबाद सीतापुर तथा सूबेदार खान पुत्र सज्जाद खान निवासी बनी बाजार खैराबाद सीतापुर गोवंशों को पकड़कर उनका वध करते हैं और गोमांस बेचते हैं। यह जानकारी मिलते ही हम उनकी तलाश में जुट गए। तभी एक ट्रक पकड़ा गया, जिसमें 9 गोवंश थे। पूछताछ पर पकड़े गए अभियुक्त कोई संतोषजनक जानकारी नहीं दे पाए। जिससे इनके खिलाफ पशु क्रूरता अधिनियम के तहत मुकदमा पंजीकृत कर इन्हें जेल भेज दिया गया।

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मुकदमे की सुनवाई के दौरान अपर सत्र न्यायाधीश पंचम गुणेद्र प्रकाश ने दोनों पक्षों की दलील सुनने के बाद चारों अभियुक्तों को पशु क्रूरता अधिनियम के अंतर्गत दोषी पाते हुए चार-चार साल की कड़ी सजा दी है। साथ ही 6 -6 हजार रुपए जुर्माना से दंडित किया है। जुर्माने की रकम अदा न करने पर एक-एक माह अतिरिक्त सजा भोगनी होगी। विशेष लोक अभियोजक गैंगस्टर एक्ट जनपद न्यायालय बांदा सौरभ सिंह ने बताया कि इसका एक संगठित गिरोह हैं जिसका गैंग लीडर अमीर हसन उर्फ कारिया  हैं इसके गैंग में 4  सदस्य हैं गैंग लीडर अमीर हसन एक हिस्ट्री सीटर अपराधी हैं। इसके विरुद्ध जनपद व अन्य जनपदों में कुल 16 मुकदमे पंजीकृत हैं जिसमे हत्या का प्रयास, लूट, राहजनी, बंद घरों में चोरी जैसे जघन्य अपराध शामिल हैं इसके अलावा इसके गैंग के सक्रिय सदस्य के ऊपर भी जनपद के कई थानों में कई मुकदमें चल रहे हैं। ये सभी हिस्ट्री सीटर अपराधी हैं जो गैंग बनाकर अपराध करते हैं गैंगस्टर जज गुनेद्र प्रकाश ने अपने 33 पेज के आदेश में सभी आरोपियों को दोषी पाते हुए सजा सुनाई।

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