स्टेडियम व जिला खेल कार्यालय बना कबाड़, डीएम बांदा ने क्रीड़ा अधिकारी को लगाई फटकार
डीएम बांदा अनुराग पटेल ने गुरूवार को स्टेडियम व जिला खेल कार्यालय का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान कार्यालय में कबाड़ मिला..
डीएम बांदा अनुराग पटेल ने गुरूवार को स्टेडियम व जिला खेल कार्यालय का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान कार्यालय में कबाड़ मिला। तरणताल में बरसों से लगा है ताला और गंदा प्रदूषित पानी भरा मिला। स्विमिंग पूल के बगल में चेंज रूम व बैडमिंटन हॉल में भी कबाड़ पाया गया।
क्रिकेट प्रैक्टिस जाली ऊपर से कटी फटी मिली,प्रैक्टिस के लिए स्टम्प आदि समान भी उपलब्ध नहीं था। पिच बनाने वाला क्रिकेट रोलर दो साल से खराब बताया गया। छात्रावास में भी डाइनिंग टेबल हॉल, वॉश बेसिन में पानी नहीं मिला, पंखे लाइट खराब मिले। यह सब देख कर डीएम ने नाराजगी जताते हुए जिला क्रीड़ा अधिकारी को फटकार लगाई है।
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निरीक्षण में ऑफिस के सामने बडी-बडी घास खडी थी। स्वीमिंग पूल के चेन्ज रूम (पुरूष) के बगल के कमरे में अलमारी रखी थी, एक कुर्सी, लकडी के पटले, कुएं में समरसिबल पाइप, पुराना फ्रिज, ग्लास, कटिंग मशीन का ढक्कन, खेल की पुरानी सामाग्री चूना एक बोरी, समरसिबल का कवर दो, एक जनरेटर, एक पंखा, दो विकलांग कुर्सी, ग्रास कटर मशीन का कबाड, कूलर का कबाड, एक अलमारी, पुराना वाटर कूलर, शौचालय में कबाड भरा हुआ था। 8 समरसिबल पाइप, चार लाइट के तार, तीन दरवाजे, तीन दरवाजों की जाली, बाथरूम में पानी नही था, मिरर नही था यह सब देखकर जिलाधिकारी ने जिला क्रीडा अधिकारी आनन्द बिहारी श्रीवास्तव का अग्रिम आदेशों तक वेतन रोकने के निर्देश दिये।
जिला क्रीडा अधिकारी द्वारा बताया गया कि 1995 में स्वीमिंग पूल बना था जो आज तक चालू स्थिति में नही है। स्वीमिंग पूल में भयंकर गन्दा पानी भरा हुआ पाया गया, स्वीमिंग पूल में कूडा और सीढ़ियों में जंग लग रहा है।
इसी प्रकार चेन्ज रूम-2 (महिला) के निरीक्षण के दौरान टूटी कुर्सी, जूता, बाल्टी, एक बोरी चूना, पाइप, सोडियम लाइट का फ्रेम, लोहे के पाइप, प्लास्टिक के पाइप, वाटर कूलर, तार, पम्पिंग मशीन, पॉच कुर्सी, चेंज रूम में पानी नही, बालू-गिट्टी का ढेर तथा न्यू बैडमिन्टन कोर्ट मेें ऑफिस रूम का बाथरूम गन्दा पाया गया, फावडा, गत्ता, झाडू पाया गया और मिरर नही था। बाथरूम में पानी नही था, वॉस बेसिन तथा महिलाओं के बाथरूम में पानी नही था।
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प्रैक्टिस के लिए स्टम्प आदि समान भी उपलब्ध नही था। पिच बनाने वाला क्रिकेट रोलर दो साल से खराब बताया गया। बैटरी भी चालू अवस्था में नही थी। पिच भी तीन साल से रोल नही की गयी थी बीच-बीच में घांस जम गयी थी। पुराना बॉली-बाल हॉल कबूतर बीड से भरा हुआ पाया गया, खिडकी-दरवाजे टूटे पाये गये, बैडमिन्टन पोल और नेट पुराना पाया गया।
पानी पीने की कोई व्यवस्था नही थी, नगर पालिका बांदा द्वारा डेढ साल पहले बना सार्वजनिक शौचालय चालू नही था। बॉली-बॉल छात्रावास 20 लाख रूपये में 1992 में बना था इसमें बाथरूम गन्दा पाया गया। कक्ष संख्या 01 व 4 में पंखा व लाइट नही थी। डाइनिंग हॉल में वॉस बेसिन में पानी नही, तीन पंखे खराब, 5 लाइट में से 4 खराब थी।
जिलाधिकारी अनुराग पटेल ने बताया कि अभी एक सप्ताह पहले डिप्टी कलेक्टर सौरभ यादव के द्वारा जिला क्रीडा कार्यालय का निरीक्षण किया गया था। निरीक्षण में बतायी गयी कमियों को जिला क्रीडा अधिकारी आनन्द बिहारी श्रीवास्तव के द्वारा अमल नही किया गया।
यह बहुत ही खेद जनक है।निरीक्षण के समय डिप्टी कलेक्टर प्रशिक्षु सौरभ यादव, जिला क्रीडा अधिकारी आनन्द बिहारी श्रीवास्तव, उप क्रीडा अधिकारी शैलेन्द्र कुशवाहा, सुधीर श्रीवास्तव, कनिष्ठ सहायक मोहन लाल एवं चुतर्थ श्रेणी पवन कुमार उपस्थित रहे।
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