नए कानून के विरोध में बार एसोसिएशन जारी रखेगा संघर्ष

नए कानून के विरोध में हड़ताल के क्रम में अधिवक्ता संघ भवन में मौजूद अधिवक्ताओं ने अपने विचार प्रस्तुत...

नए कानून के विरोध में बार एसोसिएशन जारी रखेगा संघर्ष

चित्रकूट(संवाददाता)। नए कानून के विरोध में हड़ताल के क्रम में अधिवक्ता संघ भवन में मौजूद अधिवक्ताओं ने अपने विचार प्रस्तुत किए। निर्णय लिया गया कि जब तक सर्वोच्च न्यायालय व केन्द्र सरकार नए कानून को लेकर बांदा जिला अधिवक्ता संघ के अधिवक्ताओं की मांग पूरा नहीं करते तब तक हड़ताल जारी रहेगी। नए कानून पर संशोधन करने की मांग पर अधिवक्ता अड़े हुए हैं।

जिला अधिवक्ता संघ के अध्यक्ष संजय करवरिया की अध्यक्षता में मंगलवार को कचहरी परिसर स्थित अधिवक्ता भवन में बैठक हुई। उन्होंने कहा कि पूर्व से प्रचलित साक्ष्य व दंड विधान विधियों को परिवर्तित कर उनके स्थान पर प्रस्थापित किए गए तीन नए कानून भारतीय दंड संहिता के स्थान पर भारतीय न्याय संहिता 2023, दंड प्रक्रिया संहिता के स्थान पर भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता व साक्ष्य विधि के स्थान पर भारतीय साक्ष्य अधिनियम को एक जुलाई 2024 से लागू किए जाने का जिला अधिवक्ता संघ विरोध करता है। संघ के महासचिव मनोज कुमार कंचनी ने कहा कि कानूनों के इस परिवर्तित स्वरूप पर पुर्नविचार कर तीनो विधियों को जिस तरह से व्यवस्थापित किया गया है उसी प्रकार लागू किया जाना चाहिए। यह परिवर्तित साक्ष्य स्वरूप जहां कानून व संविधान के मंशा के विपरीत है वहीं विधि व्यवस्था जगत में जटिलता व न्याय प्रक्रिया के लिए दुर्बलता, अस्पष्टता व भ्रम की स्थिति पैदा होने से जन समस्या उत्पन्न होगी। पूर्व महासचिव शिवशंकर उपाध्याय ने कहा कि तीनो नए कानून समाज व जनता में भ्रम पैदा करने जैसा है। जनमानस व अधिवक्ताओं में असमंजस की स्थिति है। पुलिस प्रशासन को ज्यादा शक्ति प्रदान करने वाला कानून है। वरिष्ठ अधिवक्ता रामेन्द्र त्रिपाठी ने कहा कि कतिपय प्रावधान तीनो नए कानून अधिवक्ताओं के पूर्वतन चले आ रहे न्याय निर्धारण कराने के लिए कार्य व अधिकारों को प्रभावित करने से भी तत्संदर्भ में समीक्षा में सुधार आवश्यक है। उन्होंने तीनो नए कानूनों का घोर विरोध किया है। इसी प्रकार अन्य अधिवक्ताओं ने विचारों की पुष्टि की है। कहा कि जब तक तीनो नए कानूनों पर संशोधन नहीं होगा तब तक अनवरत संघर्ष जारी रहेगा।

What's Your Reaction?

like
0
dislike
0
love
0
funny
0
angry
0
sad
0
wow
0