एलडीए से गायब हुईं 21 हजार फाइलें, डिजिटल घोटाले का पर्दाफाश
लखनऊ विकास प्राधिकरण (LDA) में एक बार फिर भ्रष्टाचार की परतें खुलने लगी हैं। ताजा मामला एक डिजिटल...

निजी कंपनी के जिम्मे दी गई थीं डिजिटल सेवाएं, अब रिकॉर्ड ही नदारद
लखनऊ। लखनऊ विकास प्राधिकरण (LDA) में एक बार फिर भ्रष्टाचार की परतें खुलने लगी हैं। ताजा मामला एक डिजिटल घोटाले से जुड़ा है, जिसमें एलडीए की लगभग 21,000 महत्वपूर्ण फाइलें रहस्यमय तरीके से गायब हो गई हैं।
जानकारी के अनुसार, इन फाइलों को स्कैनिंग और डिजिटल सेवाओं के लिए एक निजी कंपनी को सौंपा गया था। परंतु सेवाओं के बाद कंपनी न तो मूल दस्तावेज़ लौटा सकी और न ही डिजिटल रिकॉर्ड सही रूप से एलडीए को सौंपा गया। इससे न सिर्फ प्राधिकरण के कामकाज पर असर पड़ा है, बल्कि सैकड़ों लोगों के व्यक्तिगत और संपत्ति संबंधी कार्य भी अधर में लटक गए हैं।
इस मामले को लेकर आम जनता के बीच आक्रोश फैल गया है। कई पीड़ित नागरिकों ने बताया कि महीनों से उनका प्लॉट, नक्शा या ट्रांसफर संबंधी काम सिर्फ एक फाइल न मिलने की वजह से रुका हुआ है।
एलडीए उपाध्यक्ष ने इस मामले में प्रतिक्रिया देते हुए कहा, "गायब फाइलों की जांच चल रही है। संबंधित रिकॉर्ड मंगाया जा रहा है और कंपनी से जवाब तलब किया गया है। दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।"
सूत्रों का मानना है कि यह घोटाला करोड़ों रुपये के भ्रष्टाचार की ओर इशारा करता है। वहीं, एलडीए प्रशासन पर सवाल उठ रहे हैं कि इतनी बड़ी संख्या में फाइलें निजी हाथों में क्यों सौंपी गईं और निगरानी की व्यवस्था क्यों नहीं की गई।
फिलहाल जांच जारी है और शासन स्तर से भी रिपोर्ट तलब की गई है।
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