अब किसानों को किसी भी करार में बांधा नहीं जा सकेगा : भाजपा
भारतीय परंपरा के अनुसार भारत का किसान अपने कृषि यंत्रों को पूजता है परंतु कांग्रेस पार्टी द्वारा किसान बिल के विरोध में आकर कर कृषि यंत्र ट्रैक्टर को आग के हवाले करना भारतीय संस्कृति के विरुद्ध है।
भारतीय परंपरा के अनुसार भारत का किसान अपने कृषि यंत्रों को पूजता है परंतु कांग्रेस पार्टी द्वारा किसान बिल के विरोध में आकर कर कृषि यंत्र ट्रैक्टर को आग के हवाले करना भारतीय संस्कृति के विरुद्ध है। विधेयक से किसानों को निर्धारित दाम पाने की गारंटी मिलेगी। इस बिल के माध्यम से अब किसान को किसी भी करार में बांधा नहीं जा सकेगा।
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यह बात आज जिला भाजपा कार्यालय पंडित दीनदयाल धाम में किसान मोर्चा जिला अध्यक्ष विजय विक्रम सिंह ने प्रेस को संबोधित करते हुए कही। उन्होने किसान बिल को किसानों की आजादी करार दिया और कहा कि किसान किसी भी मोड़ पर, बिना किसी पेनाल्टी के करार से निकलने को स्वतंत्र होगा।
बिल में साफ निर्देशित है कि किसानों की जमीन की बिक्री, लीज और गिरवी रखना पूरी तरह से निषिद्ध है। इसमें फसलों का करार होगा, जमीन का करार नहीं होगा।
कृषि बिल का न्यूनतम समर्थन मूल्य से कोई लेना-देना ही नहीं है, एमएसपी मूल्य मिलता रहा है और मिलता रहेगा। मंडी व्यवस्था पहले की तरह जारी रहेगी।
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यह किसान बिल किसानों की आजादी के रूप में मिला है ,वन नेशन, वन मार्केट से अब किसान अपनी फसल कहीं भी किसी को भी बेच सकते हैं। इस अवसर पर भाजपा जिला मीडिया प्रभारी आनंद स्वरूप द्विवेदी, किसान मोर्चा जिला महामंत्री रामनरेश मिश्रा, भाजपा जिला महामंत्री कल्लू सिंह राजपूत, दक्षिणी मंडल अध्यक्ष राकेश गुप्ता तथा कार्यालय प्रभारी दिलीप गुप्ता प्रमुख रूप से उपस्थित रहे।