बाँदा पूर्व विधायक बृजेश प्रजापति की बिना नक्शा की बिल्डिंग पर अब चलेगा बुलडोजर
जनपद बांदा की तिंदवारी विधानसभा सीट से बीजेपी के विधायक बने बृजेश प्रजापति पिछले महीने हुए विधानसभा चुनाव..

जनपद बांदा की तिंदवारी विधानसभा सीट से बीजेपी के विधायक बने बृजेश प्रजापति पिछले महीने हुए विधानसभा चुनाव में ऐन वक्त पर स्वामी प्रसाद मौर्य के साथ इस्तीफा देकर सपा में शामिल हो गए। जिससे उनकी मुसीबतें बढ़ती जा रही हैं। उनके द्वारा बनाई गई 4 मंजिला इमारत पर अब योगी सरकार का बुलडोजर चलना लगभग तय हो गया है।
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बृजेश प्रजापति जब तक बीजेपी के विधायक रहे उनके दबंगई के चर्चे होते रहे। कभी खनिज अधिकारी से भिड़ गए तो कभी अवैध खनन के खिलाफ सड़क पर उतर आए। उनकी दबंगई के कारण ही कई बार मुकदमे भी दर्ज हुए। इसी दौरान बांदा शहर के बिजली खेड़ा में उन्होंने अपनी एक 4 मंजिला इमारत तैयार की, जिसमें उनका कार्यालय भी है। चुनाव में उन्हें पराजय का मुंह देखना पड़ा और उसके बाद सरकार ने बृजेश प्रजापति को सबक सिखाना शुरू कर दिया।
बांदा विकास प्राधिकरण ने 24 मार्च को एक नोटिस दी थी। जिसमें गलत ढंग से बिना नक्शे के बिल्डिंग तैयार करने की बात कही गई थी और 15 दिन के अंदर इससे संबंधित अभिलेख व नक्शा तलब किया गया था। पूर्व विधायक की ओर से उनके अधिवक्ता ने इसके लिए और समय मांगा। विकास प्राधिकरण ने पहले 7 अप्रैल तक का समय दिया और फिर 16 अप्रैल से 18 अप्रैल तक की मोहलत दी गई लेकिन इसके बाद भी वह अभिलेख व नक्शा उपलब्ध कराने में विफल रहे।
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सोमवार को बांदा विकास प्राधिकरण ने इस मामले की सुनवाई की, जिसमें पूर्व विधायक के अधिवक्ता ने बीडीए के अधिशासी अभियंता आरपी द्विवेदी से बहस की लेकिन अभिलेख व मानचित्र उपलब्ध नहीं करा पाए। इसके लिए अधिवक्ता की ओर से 2 दिन का और समय मांगा गया। परंतु बीडीए ने उन्हें और समय देने से इंकार कर दिया और अधिशासी अभियंता ने उनकी इमारत पर बुलडोजर चलाने का आदेश पारित कर दिया।
आदेश की प्रति कोतवाली और बीडीए के अध्यक्ष चित्रकूट धाम मंडल के आयुक्त दिनेश कुमार सिंह और जिलाधिकारी अनुराग पटेल को भेज दी है। इस संबंध में पूर्व विधायक से बात नहीं हो पाई लेकिन उनके प्रतिनिधि मनोज प्रजापति का कहना है कि इस मसले में पहले कमिश्नर चित्रकूट मंडल के समक्ष अपील की जाएगी और यहां से राहत न मिली तो न्यायालय के शरण में जाएंगे।
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