उत्तर मध्य रेलवे : 160 किलोमीटर प्रति घंटे की गति तक बढ़ाने के कार्यों की विस्तृत समीक्षा

महाप्रबंधक ने उत्तर मध्य रेलवे पर संरक्षा, समयपालनता, लदान और गतिशीलता सुधार कार्यों की भी समीक्षा की महाप्रबंधक उत्तर मध्य रेलवे..

उत्तर मध्य रेलवे : 160 किलोमीटर प्रति घंटे की गति तक बढ़ाने के कार्यों की विस्तृत समीक्षा
रेलवे (फाइल फोटो)

महाप्रबंधक ने उत्तर मध्य रेलवे पर संरक्षा, समयपालनता , लदान और गतिशीलता सुधार कार्यों की भी समीक्षा की महाप्रबंधक उत्तर मध्य रेलवे और पूर्वोत्तर रेलवे  श्री विनय कुमार त्रिपाठी ने उत्तर मध्य रेलवे के नई दिल्ली-हावड़ा और नई दिल्ली-मुंबई ट्रंक मार्गों पर पड़ने वाले सेक्शन पर 160 किलोमीटर प्रति घंटे की गति उन्नयन संबंधी महत्वपूर्ण कार्य की प्रगति की निगरानी के लिए एक विस्तृत समीक्षा बैठक की।

वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से आयोजित इस बैठक में अपर महाप्रबंधक उत्तर मध्य रेलवे, संबंधित प्रमुख विभागाध्यक्ष, प्रयागराज और आगरा मंडलों के मंडल रेल प्रबंधक सहित मुख्यालय और मंडलों के अन्य अधिकारियों ने भाग लिया। इलेक्ट्रिकल, इंजीनियरिंग, संकेत एवं दूरसंचार और यांत्रिक विभाग के प्रमुख विभागाध्यक्षों ने विभिन्न कार्यों के निष्पादन के लिए समय सीमा के साथ-साथ गति बढ़ाने के कार्य की विस्तृत योजना प्रस्तुत की।

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वर्तमान रेल मार्गों को 160 किलोमीटर प्रति घंटे के ऑपरेशन के लिए फिट करने के लिए ओएचई और बिजली आपूर्ति व्यवस्था में संशोधन; ट्रैक में विशेष रूप से प्वाइंट एवं क्रॉसिंग क्षेत्रों में ट्रैक संरचना को मजबूत करना और बलास्ट का बेहतर कुशन; बाउंड्री वाल  का निर्माण; ट्रेन कोलिज़न एवॉयडेंस प्रणाली (टीसीएएस) सहित बेहतर सिग्नलिंग का प्रावधान, वे साइड रोलिंग स्टॉक मॉनिटरिंग प्रणाली के तहत HAHW, WILD, OMRS आदि की स्थापना संबंधी कार्य किये जाने हैं।

इस क्रम में नई दिल्ली- हावड़ा मार्ग पर प्रयागराज मंडल के गाजियाबाद-पं दीन दयाल उपाध्याय जं  एवं नई दिल्ली-मुंबई मार्ग पर आगरा मंडल के पलवल-मथुरा खंडों को क्रमशः 2437.30 करोड़ एवं 393.51 करोड़ रुपये के अनुमानित व्यय के साथ अपग्रेड किया जा रहा है। अगले 02 वर्षों में लगभग 2830 करोड़ रुपये के निवेश के साथ इन कार्यों से ट्रेन की गति और यात्रियों को सुविधा में वृद्धि के साथ ही उत्तर प्रदेश में बड़े पैमाने पर रोजगार का भी सृजन होगा।

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कार्य की प्रगति की समीक्षा करते हुए, महाप्रबंधक  श्री वी के के त्रिपाठी ने बल देकर कहा कि इस महत्वपूर्ण कार्य के निष्पादन से संबंधित प्रत्येक गतिविधि की विस्तार से  योजना बनाकर और अच्छी तरह से प्रलेखित किया जाना चाहिए।

उन्होंने सभी कार्यदायी एजेंसियों द्वारा व्यापक और समन्वित प्रयास के लिए निर्देश दिए और कहा कि अधिकतम प्रोडक्टिविटी और ट्रेन संचालन पर कम से कम प्रभाव लिए के लिए यातायात ब्लॉकों को  सर्वोत्तम उपयोग सुनिश्चित किया जाए। श्री त्रिपाठी ने अधिकारियों को रेलवे बोर्ड, आरडीएसओ आदि से सहायता वाले सभी मुद्दों को चिह्नित करने का निर्देश दिया, ताकि यह महत्वपूर्ण कार्य वित्त वर्ष 2022-23 में निर्दिष्ट लक्ष्य के भीतर पूरा किया जा सके। इसके उपरांत महाप्रबंधक ने उत्तर मध्य रेलवे पर संरक्षा  , समयपालनता , माल लदान और गतिशीलता सुधार कार्यों की स्थिति की भी समीक्षा की।

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श्री त्रिपाठी ने बल देकर कहा कि मुख्यालय और मंडलों के  अधिकारियों द्वारा निर्धारित फील्ड निरीक्षण अवश्य किए जाएं। महाप्रबंधक  ने उत्तर मध्य रेलवे के समयपालनता  और माल ढुलाई के प्रदर्शन की भी समीक्षा की। उन्होंने उत्तर मध्य रेलवे के समयपालनता  के प्रदर्शन में और सुधार करने के लिए प्रत्येक उपकरण विफलता मामले के उचित विश्लेषण पर जोर दिया।

गतिशीलता में सुधार से संबंधित महत्वपूर्ण कार्यों की समीक्षा करते हुए, श्री त्रिपाठी ने कहा की कि प्रत्येक महत्वपूर्ण कार्य में विशिष्ट माइल स्टोन निर्धारित किए जाने चाहिए और इन महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे के कार्यों को समय पर पूरा करने के लिए प्रत्येक माइल स्टोन की प्रगति की निगरानी की जानी चाहिए। महाप्रबंधक ने कार्य निष्पादन एजेंसियों को प्रयागराज-कानपुर खंड में स्वचालित सिग्नलिंग की स्थापना ,लंबी लूप लाइनों के निर्माण और चुनार-चोपन रेलखंड में गति बढ़ाने के कार्यों में तेज़ी लाने के निर्देश दिये।

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