वह दिन रहेगा हमेशा याद, जब कैबिनेट के फैसले पर मुलायम सिंह ने लगा दी रोक

पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव के निधन की खबर लगते ही पूरे प्रदेश में शोक की लहर छा गयी...

वह दिन रहेगा हमेशा याद, जब कैबिनेट के फैसले पर मुलायम सिंह ने लगा दी रोक
पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव जी

  • - राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद ने जताया दुख, याद किया मुलायम सिंह यादव द्वारा विद्युत उपभोक्ताओं के हित में लिया गया निर्णय


पूर्व मुख्यमंत्री मुलायम सिंह यादव के निधन की खबर लगते ही पूरे प्रदेश में शोक की लहर छा गयी। उत्तर प्रदेश राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद ने दुख जताते हुए कहा कि ऊर्जा क्षेत्र में उनका एक निर्णय हमेशा प्रदेश के उपभोक्ताओं को याद रहेगा। मामला वर्ष 2006 का है।

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राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष अवधेश कुमार वर्मा ने बताया कि तत्कालीन मुख्यमंत्री मुलायम सिंह द्वारा अपने कैबिनेट में लेसा लखनऊ के सरोजिनी नगर काकोरी माल मलिहाबाद क्षेत्र को इनपुट बेस्ड फ्रेंचाइजी को सौंप दिया था। अंततः पावर कारपोरेशन की तरफ से पांच सितंबर 2006 को एक कार्यक्रम करके पूरा क्षेत्र फ्रेंचाइजी को सौंपा जाना था। उस समय के तत्कालीन ऊर्जा मंत्री शिवपाल सिंह यादव उसके मुख्य अतिथि थे मंच पर पूरी औपचारिकता पूरी हो गई थी। तभी उन्हें पता चला कि अभी-अभी आयोग ने पूरे मामले पर रोक लगा दी है।

उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश विद्युत नियामक आयोग में एक याचिका दाखिल कर सरकार के कैबिनेट निर्णय का विरोध किया। अनेकों विधिक सवाल उठाते हुए एग्रीमेंट को कैंसिल करने की मांग उठाई। अंततः विद्युत नियामक आयोग द्वारा 5 सितंबर 2006 को जिस दिन पूरा क्षेत्र फ्रेंचाइजी को एक भव्य कार्यक्रम में हैंड ओवर किया जा रहा था। उसी दिन विद्युत नियामक आयोग ने अपना फैसला सुनाते हुए उसके एग्रीमेंट के क्रियान्वयन पर रोक लगा दी गई थी और मध्यांचल विद्युत वितरण कंपनी से जवाब तलब किया गया था।

अवधेश कुमार वर्मा बताते हैं कि आज भी मुझे वह दिन याद है, जब विद्युत नियामक आयोग के तत्कालीन चेयरमैन विजय कुमार ने मुझे बुलाया और कहा मुलायम सिंह बहुत नाराज हैं। अंतत: नेता जी ने मुझे अपने ऑफिस में बुलाया और मुझसे पूछा कि याचिकाकर्ता आप ही हो। मैंने कहा जी याचिकाकर्ता मैं ही हूं। इसके बाद मुलायम सिंह ने कहा कि आपने कैबिनेट निर्णय के खिलाफ याचिका क्यों लगाई। जब हमने नेता जी को बताया कि विद्युत अधिनियम 2003 के प्रावधानों के तहत इस निर्णय में अनेकों विधिक कमियां हैं। अनेकों वित्तीय पैरामीटर का उल्लंघन हुआ है।

ऐसे में उपभोक्ता परिषद ने उपभोक्ताओं के हित में यह याचिका लगाई है। इस पर नेता जी ने थोडा बहुत सवाल जवाब किया लेकिन नेता जी पूरे मामले को बहुत जल्द समझ गए और उन्होंने कहा कि उपभोक्ता परिषद यानी आपने सही किया है और वह दिन मुझे याद है कि जब नेता जी ने उपभोक्ता परिषद की तारीफ करते हुए कहा कि सत्य के रास्ते पर हमेशा चलना, अब आप सब समझ सकते हैं कि नेता जी कितना बड़े दिल वाले थे कि उन्होंने अपना केबिनेट निर्णय जिसको आयोग ने रोका था। जब उसकी सच्चाई जानी तो वह सच्चाई को ही आगे बढाया और आयोग के निर्णय का सम्मान किया।

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