गायत्री शक्तिपीठ में हुआ समरसता एवं सद्भाव गोष्ठी का आयोजन
गायत्री शक्तिपीठ में शुक्रवार को समरसता एवं सद्भाव संगोष्ठी का आयोजन किया गया। जिसमें विभिन्न...

चित्रकूट। गायत्री शक्तिपीठ में शुक्रवार को समरसता एवं सद्भाव संगोष्ठी का आयोजन किया गया। जिसमें विभिन्न अखाड़ों के महंतों व राष्ट्रीय स्वयं सेवक के पदाधिकारियों ने विचार व्यक्त किए।
गोष्ठी में संतोषी अखाडा के महंत रामदास महराज ने कहा कि सनातन धर्म समरसता का धर्म है। महारानी मीरा ने रविदास को तथा कबीर ने रामानंदचार्य को गुरु बनाया। हमें प्रत्येक प्राणियों मे ईश्वर को देखना चाहिए। कामतानाथ प्रमुख द्वार के महंत डॉ मदन गोपाल ने कहा कि प्रत्येक मनुष्य में कोई न कोई विशेषता है, हमें ऐसे राष्ट्र का निर्माण करना चाहिए जिसमें किसी में कोई भिन्नता न रहे। गायत्री शक्तिपीठ के व्यवस्थापक डॉ रामनारायण त्रिपाठी ने कहा कि राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ और गायत्री परिवार सनातन धर्म को सींचने का कार्य कर रहे है। गायत्री परिवार गांवों में संस्कार देने का कार्य कर रहे है।
इस मौके पर यज्ञ वेदी अखाड़ा के महंत सत्यप्रकाश दास, नदी के हनुमान मंदिर के महंत महेंद्र दास, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के जिला संघ चालक रामाधार मिश्रा, जिला कार्यवाहक अतुल सिंह, ब्रह्माकुमारी प्रमुख बहन दुर्गेश, कमलकांत उपाध्याय, आशीष सिंह, राजकुमार, कार्यक्रम संयोजक सिद्धार्थ आदि मौजूद रहे।
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