मंदाकिनी नदी को जल्द मिलेगी प्रदूषण से राहत
आगामी तीन महीने के अंदर मंदाकिनी नदी को प्रदूषण से बड़ी राहत मिलेगी। कई बड़े नाले नदी में गिरने से रुकेंगे...
सीवर ट्रीटमेंट के जरिए कई बड़े नाले, नदी हो जाएगें मुक्त
चित्रकूट। आगामी तीन महीने के अंदर मंदाकिनी नदी को प्रदूषण से बड़ी राहत मिलेगी। कई बड़े नाले नदी में गिरने से रुकेंगे। साथ ही मठ-मंदिर, आश्रम और होटलों की गंदगी अब सीवर के जरिए नदी से दूर फेंकी जायेगी।
बुंदेली सेना के जिलाध्यक्ष अजीत सिंह ने बताया कि 32 करोड़ की लागत से मध्य प्रदेश क्षेत्र में सीवर ट्रीटमेंट का कार्य चल रहा है। अक्टूबर महीने में इस कार्य को पूरा हो जाना था लेकिन अब दिसंबर तक इसके पूरा होने की उम्मीद है। नगर पंचायत क्षेत्र में 50 किमी पाईप लाइन बिछाने और पांच हजार कनेक्शन जोड़ने का लक्ष्य था। 40 किमी से ज्यादा लाइन बिछ गई है और 100 कनेक्शन जोड़ दिए गये हैं। अगले दो तीन महीनों में सीवर ट्रीटमेंट का कार्य पूरा हो जाएगा। मंदाकिनी नदी बड़े प्रदूषण से राहत पाएगी। स्फटिक शिला से भरत घाट तक नदी किनारे अलग से पाइप लाइन बिछाई गई है। ताकि नदी किनारे बने मठ-मंदिर और आश्रमों की गंदगी सीधे नदी में न जाए। इसके अलावा आरोग्यधाम से लेकर भरत घाट तक गिरने वाले कई नाले भी अब नदी में नहीं गिरेंगे। सरयू नाला से गिरने वाली गंदगी भी अब दिसंबर के बाद शायद ही नदी में गिरे। इसके अलावा नया गाँव क्षेत्र की गंदगी भी अब बड़े नाले के रूप में मंदाकिनी नदी में गिरने की बजाय सीवर के जरिए क्योटरा स्थित एसटीपी पहुंचेगी। युद्ध स्तर पर जारी सीवर ट्रीटमेंट कार्य पूरा हो जाने पर नदी को लगभग 60 प्रतिशत प्रदूषण से राहत मिलने की उम्मीद है। बुंदेली सेना ने मध्य प्रदेश के तत्कालीन मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के प्रति आभार जताया है। जबकि धर्मनगरी को विशेष क्षेत्र प्राधिकरण घोषित कर चहुँमुखी विकास की तैयारी कर रहे मुख्यमंत्री मोहन यादव की मुक्तकंठ से प्रशंसा की है।