भारतीय ज्ञान परंपरा में उनके अवदान विषय पर अन्तर्राष्ट्रीय सेमीनार का आयोजन

जगद्गुरु रामभद्राचार्य दिव्यांग राज्य विश्वविद्यालय के दर्शन शास्त्र विभाग द्वारा महामहोपाध्याय पंडित गोपीनाथ कविराज और...

Sep 7, 2024 - 00:35
Sep 7, 2024 - 00:37
 0  13
भारतीय ज्ञान परंपरा में उनके अवदान विषय पर अन्तर्राष्ट्रीय सेमीनार का आयोजन

चित्रकूट। जगद्गुरु रामभद्राचार्य दिव्यांग राज्य विश्वविद्यालय के दर्शन शास्त्र विभाग द्वारा महामहोपाध्याय पंडित गोपीनाथ कविराज और भारतीय ज्ञान परंपरा में उनके अवदान विषय पर एवं भारतीय दर्शन अनुसंधान परिषद नई दिल्ली के सौजन्य से अंतर्राष्ट्रीय सेमीनार का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का शुभारम्भ प्रो नवजीवन रस्तोगी, डॉ एचएल लूसी गेस्ट, यूके ब्रिटेन, डॉ राकेश सिंह निदेशक बौद्ध शोध संस्थान संस्कृति मंत्रालय उत्तर प्रदेश, प्रो जटाशंकर तिवारी ने मां सरस्वती के चित्र पर पुष्प अर्पित कर किया गया।

कुलपति प्रो शिशिर कुमार पांडेय ने कविराज गोपीनाथ द्वारा रचित पुस्तको के सम्बन्ध में बताने के साथ उनमें निहित तत्वों के सम्बन्ध में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि ऐसे तत्व लोक जीवन के लिए हितकर होंगे, इसके उपयोग से आपसी सम्बन्ध की भावना बनाए रखने में सहायक है। सागर विश्वविद्यालय के प्रो एबी शर्मा ने बताया कि नई शिक्षा नीति 2020 में ज्ञान परंपरा के सम्बन्ध पर अत्यधिक बल दिया गया है। प्रो मालवी ने कविराज के नाम पर अधिक पुस्तक लिखने एवं इन पर शोध लिखने पर बल दिया। ब्रिटेन से आई डॉ एचएल लूसी ने ज्ञान परंपरा को विभिन्न विषयों में लेखन के लिए आने वाली समस्याओं पर प्रकाश डाला। साथ ही कविराज के सम्बन्ध में जानने के लिए और पढकर उनके सम्बन्ध में जानकारी प्राप्त की जा सकती है। अन्तर्राष्ट्रीय बौद्ध संस्थान के निदेशक डॉ राकेश सिंह ने कविराज के जीवन एवं अध्यात्म जीवन में उनके साहित्य के महत्व पर प्रकाश डाला।

लखनऊ विश्वविद्यालय के सेवानिवृत्त प्रो नवजीवन रस्तोगी ने बताया कि भारतीय संस्कृति पर जो आघात हुआ था, उसे क्रांति के शिलालेख आचार्य कविराज की थे। अगर मन में संकल्पित भाव जाग जाए तो ऐसे दार्शनिक के ऊपर शोध करने की आवश्यकता है। श्रीलंका कोलंबो विश्वविद्यालय से धर्म गुरु ने जटाशंकर तिवारी ने बताया कि कविराज की बौद्ध दर्शन एवं भारतीय दर्शन किसके लिए थे। एसोसिएट प्रो नेहरू ग्राम भारती डीम्ड विश्वविद्यालय प्रयागराज डा राजेश कुमार तिवारी ने भी अपने विचार व्यक्त किए। इस आयोजन में प्रो अंबिका दत शर्मा, ज्योति सलाम, डॉ मीनाक्षी जोशी, डॉ अंबरीष राय काशी, भोपाल मध्य प्रदेश, कानपुर, लखनऊ, सांची, अमरकंटक आदि सहभागी हुए हैं। आयोजन सचिव डॉ अमिता तिवारी और संयोजक अंतर्राष्ट्रीय सेमिनार डॉ हरिकांत मिश्रा ने आभार व्यक्त किया।

What's Your Reaction?

Like Like 0
Dislike Dislike 0
Love Love 0
Funny Funny 0
Angry Angry 0
Sad Sad 0
Wow Wow 0